रूद्रावतार भगवान हनुमान जी की जयन्ती बुधवार को पटना के महावीर मन्दिर में भव्य तैयारी
कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि बुधवार को रूद्रावतार भगवान हनुमान का प्राकट्य दिवस है। मान्यता है कि हनुमान जी इसी तिथि को धरा पर अवतरित हुए थे।
पटना के प्रसिद्ध महावीर मन्दिर में पूरी श्रद्धा के साथ इसी तिथि को हनुमान-जयन्ती मनायी जाती है। बुधवार को आयोजन की पूरी तैयारी की गई है।
महावीर मन्दिर न्यास के सचिव आचार्य किशोर कुणाल ने बताया कि रामानन्दाचार्य ने वैष्णव-मताब्ज-भास्कर नामक ग्रन्थ में हनुमत-जन्म-व्रतोत्सव पर चर्चा करते हुए लिखा है कि कपियों में श्रेष्ठ हनुमानजी का जन्म अंजना के गर्भ से कार्तिक मास के कृष्णपक्ष की चतुर्दशी तिथि को मेष लग्न में हुआ था। उनके जन्म दिन के अवसर पर व्रत, उत्सव आदि करना चाहिए।
यह मूल श्लोक इस प्रकार है-
स्वात्यां कुजे शैवतिथौ तु कार्तिके कृष्णेऽञ्जनागर्भत एव मेषके ।
श्रीमान् कपीट् प्रादुरभूत्परन्तपो व्रतादिना तत्र तदुत्सवं चरेत्।।
हनुमान जयंती के अवसर पर महावीर मन्दिर को रंगीन रोशनी से सजाया गया है। रामनवमी के बाद महावीर मन्दिर का यह दूसरा प्रमुख आयोजन है।
इस अवसर पर मुख्य पूजा 10:30 बजे आरम्भ होगी। हनुमत-पूजा के क्रम में ध्वज परिवर्तन किया जायेगा। पूजन के बाद उपस्थित भक्तों के बीच प्रसाद वितरित किया जाएगा। हनुमान जयंती के अवसर पर महावीर मन्दिर के गर्भगृह में स्थित हनुमान जी के दोनों विग्रहों को आकर्षक परिधान और गेंदे की मालाओं से सुसज्जित किया गया है।
आचार्य किशोर कुणाल ने बताया कि हनुमान-जयन्ती के उपलक्ष्य में महावीर मन्दिर में पिछले नौ दिनों से चल रहे रामचरितमानस नवाह पाठ की समाप्ति इसी दिन होगी। रात्रि 8 बजे हवन होगा।
हनुमान-जयंती पूरे देश में अत्यंत श्रद्धा और धार्मिक भक्ति के साथ मनाई जाती है। इसे महावीर हनुमानजी का जन्म-दिन माना जाता है।
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